आजाद भारत के लोकतांत्रिक शासन व्यवस्था में राजभाषा हिंदी की भूमिका काफी महत्वपूर्ण : आदित्य कुमार
लखनऊ 13 सितम्बर 2024। पूर्वोत्तर रेलवे लखनऊ मण्डल में 13 से 27 सितम्बर 2024 तक मनाये जाने वाले ‘‘हिंदी पखवाड़ा’’ के अवसर पर आज मंडल रेल प्रबन्धक कार्यालय, लखनऊ के बहुउद्देशीय हॉल में आयोजित उद्घाटन समारोह में मण्डल रेल प्रबन्धक श्री आदित्य कुमार ने कार्यक्रम के मुख्य अतिथि डॉ0 सूरज बहादुर थापा, प्रोफेसर (हिन्दी एवं आधुनिक भाषा विभाग), लखनऊ विश्वविद्यालय को पुष्प गुच्छ प्रदान कर स्वागत किया।
कार्यक्रम का शुभारम्भ, मुख्य अतिथि डॉ0 सूरज बहादुर थापा, अध्यक्ष मण्डल रेल प्रबन्धक एवं अपर मुख्य राजभाषा अधिकारी एवं अपर मण्डल रेल प्रबंधक/इंफ्रा0 श्री राजीव कुमार, अपर मण्डल रेल प्रबंधक/परिचालन श्री विक्रम कुमार व शाखाधिकारियों द्वारा दीप प्रज्जवलन कर किया गया। इसके पश्चात मण्डल के कलाकारों ने सांस्कृृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किया।
इसके उपरांत अपर मुख्य राजभाषा अधिकारी एवं अपर मण्डल रेल प्रबंधक/परिचालन श्री राजीव कुमार ने अपने स्वागत संबोधन में कहा कि लखनऊ मंडल पर आयोजित होने वाले हिंदी पखवाड़ा-2024 के उद्घाटन के अवसर पर आप सभी का हार्दिक स्वागत एवं अभिनंदन है। मण्डल के सभी अधिकारियों एवं कर्मचारियों से अपेक्षा करते हुए आग्रह करता हूँ कि अपना समस्त कामकाज सतत् रूप से हिंदी में करते रहें।
अपने अध्यक्षीय सम्बोधन में मण्डल रेल प्रबन्धक श्री आदित्य कुमार ने कहा कि आप सभी को हिंदी दिवस 14 सितंबर की हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं। आजाद भारत के लोकतांत्रिक शासन व्यवस्था में राजभाषा हिंदी की भूमिका काफी महत्वपूर्ण है, क्योंकि हिंदी लोकतांत्रिक गणराज्य व्यवस्था के नये भारत में जनता और शासन के मध्य अधिकतम लोगों की जन भाषा है, जिसे संपर्क भाषा के रूप में सार्थक भूमिका के लिए काफी विचार-विमर्श के बाद संविधान सभा ने 14 सितंबर, 1949 को राजभाषा के रूप में देवनागरी लिपि में अंगीकार किया। इस दिवस की स्मृति में भारत सरकार द्वारा केन्द्र सरकार के सभी कार्यालयों में हिंदी के प्रयोग-प्रसार के उद्देश्य से 14 सितंबर को प्रतिवर्ष हिंदी दिवस के रूप में मनाने का निर्णय लिया गया और 14 सितंबर, 1953 को पहली बार हिंदी दिवस पूरे देश में मनाया गया, जिसके बाद से इस दिवस को अनवरत रूप से ’हिंदी दिवस’ के रूप में मनाया जाता है। अपने दैनिक सरकारी कामकाज में अनवरत हिंदी का प्रयोग करना हमारा संवैधानिक व प्रशासनिक उत्तरदायित्व है।
समारोह के मुख्य अतिथि डॉ0 सूरज बहादुर थापा ने अपने सम्बोधन में कहा कि हिन्दी भाषा भारत की आत्मा है। हिंदी भाषा राष्ट्रचेतना की सम्वाहिका के रूप में कार्य करती है। भारत वर्ष में रेलवे की हिन्दी के प्रचार प्रसार में भूमिका अतुलनीय एवं अनुकरणीय है। उन्होने कहा कि भाषा हमेशा अपनी भावनाओं व संवेदनाओं को प्रकट करती है। इसी भाव से हिन्दी को भाषा के रूप में अपनाईयें। विज्ञान आपको सूचनाऐं देता है लेकिन साहित्य आपको सूचना नही देता है, साहित्य आपको जीने का सलीका सिखाता है।
इस अवसर पर मण्डल रेल प्रबन्धक महोदय ने वरिष्ठ मण्डल सिगनल एवं दूरसंचार इंजीनियर/प्रोजेक्ट श्री सत्यदेव पाठक द्वारा रचित पुस्तक ’आ गये मेरे राम’ का विमोचन किया तथा उनके द्वारा अपनी रचित नई कविताओं का काव्य पाठ किया गया। कार्यक्रम के अन्त में मण्डल के रेल कर्मियों द्वारा शीर्षक ’मुठ्ठी में गोश्त’ की नाट्य प्रस्तुति की गयी तथा श्री चन्द्रशेखर, वरिष्ठ हिन्दी अनुवादक द्वारा रचित कविता ’मजदूर’ का काव्य पाठय किया गया।
कार्यक्रम का संचालन व धन्यवाद ज्ञापन राजभाषा अधिकारी एवं मंडल वित्त प्रबन्धक श्री उमेश कुमार द्वारा किया गया। इस अवसर पर ओ.बी.सी/एससीएसटी एसोसिएशन के पदाधिकारी तथा कर्मचारीगण उपस्थित थे। उक्त आशय की जानकारी महेश गुप्ता जनसंपर्क अधिकारी पूर्वोत्तर रेलवे लखनऊ ने दी।
addComments
Post a Comment