बलिया। महर्षि भृगु की तपोस्थली व महावीर घाट गंगा-तमसा के संगम तट पर मंगलवार को स्नान करने के लिए आस्था का सैलाब उमड़ पड़ा। महर्षि भृगु की पावन धरती पर महावीर घाट संगम तट के अलावा विभिन्न घाटों पर दस लाख से अधिक लोगों ने गंगा में डुबकी लगाई। इस दौरान महिलाओं की काफी भीड़ रही। स्नान के बाद आस्थावानों ने महर्षि भृगु, दर्दर मुनि व बाबा बालेश्वर नाथ के मंदिर में जाकर मत्था टेका।
पौराणिक काल से ही भृगुक्षेत्र में कार्तिक पूर्णिमा को जनसमागम की अलौकिक परंपरा चली आ रही है। सोमवार की दोपहर बाद जो रेला संगम तट की तरफ चला, वह क्रम अगले दिन तक चलता रहा। रात 12 बजे के बाद साधु संतों के स्नान के बाद लोग आस्था डुबकी लगाने लगे। गंगा स्नान का यह क्रम टूटने का नाम ही नहीं ले रहा था। ग्रामीण क्षेत्रों से श्रद्धालु आकर महावीर घाट के रास्ते पैदल संगम तट तक पहुंचे। वहां पर स्नान के बाद गंगा मइया का पूजन किया। देर शाम श्रद्धालु विभिन्न साधनों से अपने घर निकले। गठरी लिए लोग चलते रहे। महिलाएं पारंपरिक लोकगीत और गंवई भजनों से माहौल को दिव्य बना रहीं थीं।
राज्यमंत्री दयाशंकर सिंह ने किया गंगा तमसा संगम तट गंगा स्नान
सूबे के राज्यमंत्री दयाशंकर सिंह ने भृगुनगरी में कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर महर्षि भृगु की तपोस्थली व गंगा तमसा संगम तट पर आस्था का स्नान किया। पौराणिक मान्यता है है कि कार्तिक पूर्णिमा स्नान करने से रोग, पाप से मुक्ति मिलती है।
सिटी मजिस्ट्रेट प्रदीप कुमार, सदर कोतवाल प्रवीण सिंह चक्रमण करते रहे। लोगों की मदद भी पुलिसकर्मी करते रहे। पुलिस अधीक्षक राजकरन नय्यर, अपर पुलिस अधीक्षक दुर्गा प्रसाद तिवारी, सीओ सिटी जितेंद्र कुमार सहित हजारों जवान पूरी तरह से मुस्तैद थे।
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